शनिवार को इसरो (ISRO) ने सूर्य मिशन के तहत Aditya L1 को 11:50 पर आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा स्पेस सेंटर से लॉन्च किया था.जिसके बाद आज रविवार को 11.45 मिनट पर इसरो ने अर्थ बाउंड फायरिंग शुरू की जिसके कारण आदित्य L1 ने अपनी कक्षा को सफलतापूर्वक बदल लिया है.
पृथ्वी की कक्षा में बिताएगा 16 दिन
आदित्य L1 द्वारा इस कक्षा को बदलकर अगली कक्षा में प्रवेश करने के बाद धरती के परिक्रमा करेगा और फिर सूर्य की तरफ तेजी से जाएगा.बता दें आदित्य L1 पृथ्वी की कक्षा में 16 दिन बिताएगा.
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125 दिन तक करेगा यात्रा
Aditya L1 आज से 125 दिन बाद अपने सूर्य के नजदीक अपने पॉइंट L1 तक पहुंच जाएगा. बता दें जिस पॉइंट को L1 कहा जा रहा है वह पॉइंट सूर्य के नजदीक है इस पॉइंट पर कोई भी सैटेलाइट या अन्य वस्तु गुरुत्वाकर्षण के प्रभाव में नहीं आता है क्योंकि इस पॉइंट पर पृथ्वी और सूर्य का गुरुत्वाकर्षण बराबर होता है जिसके कारण सैटेलाइट को ना सूर्य ऊपर खींचता है और ना पृथ्वी नीचे खींचती है और सैटेलाइट अपना काम कर सकता है. इसीलिए ISRO ने L1 को अपनी खोज के बिंदु के रूप में चुना है.
सूर्य की गतिविधियों की करेगा खोज
इसरो का आदित्य L1 पृथ्वी के चारों तरफ 16 दिन तक चक्कर लगाएगा इसके बाद सूर्य के लिए अपने 109 दिन की यात्रा शुरू करेगा. L1 पॉइंट पर पहुंचने के बाद यह सूर्य की गतिविधि को समझने की खोज को शुरू करेगा और फिर वहां से महत्वपूर्ण डाटा भेजना शुरू करेगा.
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