Budget 2023:वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala sitaraman) आज पीएम नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का आखिरी पूर्ण बजट पेश कर रही हैं. भारत का यह बजट ऐसे समय पर पेश हो रहा है, जब दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं की रफ्तार धीमी हो गई है और संभावित मंदी की ओर जा रही हैं. ऐसे में दुनियाभर की नजर मोदी सरकार के बजट पर है.तो आइए जानते हैं बजट से जुड़े बड़े ऐलान –
भारतीय अर्थव्यवस्था को बताया चमकता सितारा
निर्मला सीतारमण ने कहा, दुनिया ने भारतीय अर्थव्यवस्था को चमकता हुआ सितारा माना है. दुनिया में भारत का कद बढ़ा है. भारतीय अर्थव्यवस्था सही दिशा में चल रही है और सुनहरे भविष्य की ओर अग्रसर है. उन्होंने कहा कि हमने कोरोना काल में यह सुनिश्चित किया कि कोई भी भूखा न सोए. सरकार ने 2 लाख करोड़ रुपए खर्च करके हर व्यक्ति को खाद्यान सुनिश्चित किया. 28 महीने तक 80 करोड़ लोगों को फ्री राशन की व्यवस्था की गई.
कृषि से जुड़े स्टार्ट अप को दी प्राथमिकता
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा, कृषि से जुड़े स्टार्ट अप को प्राथमिकता दी जाएगी. युवा उद्यमियों द्वारा कृषि-स्टार्टअप को प्रोत्साहित करने के लिए कृषि त्वरक कोष की स्थापना की जाएगी. इसके अलावा बजट में किसान सम्मान निधि के तहत 2.2 लाख करोड़ दिए गए. वहीं कृष ऋण का लक्ष्य बढ़ाकर 20 लाख करोड़ किया गया. वित्तमंत्री ने कहा, मत्स्य संपदा की नई उपयोजना में 6000 करोड़ का निवेश किया जाएगा.
पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत 2 लाख करोड़
बजट भाषण में निर्मला सीतारमण ने कहा कि वर्तमान वर्ष के लिए हमारी अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर 7% रहने का अनुमान है, यह विश्व की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सबसे अधिक है. भारतीय अर्थव्यवस्था सही रास्ते पर है और उज्ज्वल भविष्य की ओर बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत 2 लाख करोड़ रुपये केंद्र सरकार द्वारा वहन किया जा रहा है. अंत्योदय योजना के तहत गरीबों के लिए मुफ्त खाद्यान्न की आपूर्ति को एक वर्ष के लिए बढ़ा दिया गया है.
बजट में निर्मला सीतारमण के बड़े ऐलान
बच्चों और युवाओं के लिए नेशनल डिजिटल लाइब्रेरी स्थापित की जाएगी.
निर्मला सीतारमण ने बताईं बजट की 7 प्राथमिकता जिसमें इंफ्रा, ग्रीन ग्रोथ, फाइनेंशियल सेक्टर, यूथ पावर शामिल हैं.
पशुपालन, डेयरी और मत्स्य पालन पर ध्यान देते हुए कृषि ऋण लक्ष्य को बढ़ाकर 20 लाख करोड़ रुपये किया जाएगा.कृषि से जुड़े स्टार्ट अप को प्राथमिकता दी जाएगी.
साल 2014 से बने मौजूदा 157 मेडिकल कॉलेजों के साथ कोलोकेशन में 157 नए नर्सिंग कॉलेज स्थापित किए जाएंगे.
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