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Ramadan 2023: भारत में आज नहीं इस दिन से शुरू होगा रमजान,जानें क्या है रोजा रखने का सही नियम

Ramadan 2023

Ramadan 2023

Ramadan 2023: रमजान का महीना मुसलमानों के लिए सबसे पाक महीना होता है. इसमें मुस्लमान 29 या 30 दिन का रोजा रखते हैं. रोजा की शुरुआत सहरी और रोजा खोलने के लिए इफ्तार किया जाता है. रमजान इस्लामी कैलेंडर से 9वें महीने में होता है और इसकी शुरुआत चांद देखने के बाद ही होता है. लेकिन भारत में 22 मार्च को चांद नहीं निकल पाने के कारण आज से रमजान की शुरुआत नहीं होगी.

Ramadan 2023

इस्लामिक मान्यताओं के अनुसार, इस पाक माह मे पैगंबर मोहम्मद साहब को अल्लाह से कुरान की आयतें मिली थीं, इसलिए यह माह बहुत पवित्र माना जाता है. रमजान माह के 30 दिन के रोजों को तीन अशरों में बांटा गया है. पहले 10 दिन के रोजा को रहमत, दूसरे 10 दिन रोजा को बरकत और अंतिम 10 दिन के रोजा में मगफिरत कहा जाता है.

Ramadan 2023 : इस दिन से रखा जाएगा रोजा

रमजान की शुरुआत चांद देखने के बाद ही होती है. लेकिन इस बार भारत में इसके तारीख को लेकर काफी कन्फ्यूजन है.. बता दें 22 मार्च को चांद नहीं दिखने के कारण 23 मार्च से रोजा का शुरुआत नहीं किया गया है. ऐसे में अगर आज चांद दिखाई पड़ता है तो कल यानी 24 मार्च से रोजा रखा जायेगा और उसी दिन जुमा भी होगा.आज रमजान का चांद दिखते ही लोग एक-दूसरे को इस पाक महीने की शुरुआत की बधाईयां देंगे.

सऊदी अरब में कल ही हुआ था चांद का दीदार

सऊदी अरब में 22मार्च को चांद का दीदार हो गया है, ऐसे में वहां आज से ही रोजा का त्यौहार शुरू हो चुका है. वहीं, भारत में रोजा कल यानी 24 मार्च से शुरू होगी. अगर 22 मार्च को ही भारत में चंद का दीदार हो जाता तो आज से यहां भी रोजा की शुरुआत हो जाती. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. बता दे मुस्लिम समुदाय के लोगों के लिए यह माह रहमत और बरकत का महीना होता है.

रोजेदार इन नियमों का करें पालन

रमजान का माह बहुत पवित्र माना जाता है, ऐसे में जो लोग रोजा रखते हैं उन्हें इस माह में जरूरतमंद और गरीबों की मदद करनी चाहिए.साथ ही रोजा रखते हुए अल्लाह की इबादत करनी चाहिए. पवित्र कुरान के मुताबिक इस पाक महीने में अल्लाह ने पैगंबर साहिब को अपना दूत चुना था. इस माह में सभी मुस्लिम रोजा रखना अपना कर्तव्य मानते हैं. साथ ही पांच वक्त की नमाज पढ़ना भी जरूरी मानते हैं. इस पाक माह में ईद से पहले जकात यानी दान देना जरूरी माना जाता है. जकात में केवल आप साल भर की कमाई का ढाई फीसदी हिस्सा जरूरतमंदों को दान करते हैं.

Ramadan 2023 : क्या होता है सहरी और इफ्तार

रमजान के इस पाक महीने में सभी मुस्लिम समाज रोजा रखते हैं. जिसके लिए सूर्य उगने से पहले सहरी की जाती है. फजर की अजान के बाद लोग भोजन करते हैं और फिर इसके बाद पूरे दिन बिना अन्न जल का रहते हैं. वहीं, रोजा खोलने के लिए जो भोजन किया जाता है, उसे इफ्तार कहा जाता है. खजूर खाकर ही रोजा खोला जाता है. इसके बाद आप जितना मन उतना भोजन कर सकते हैं. इस महीने में सहरी और इफ्तार करनी चाहिए, साथ ही खुदा की इबादत करनी चाहिए, तभी रोजा कुबूल होता है.

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