Odisha Train Accident: 5 जून की शाम 7 बजे उड़ीसा के बालासोर में ट्रेनों के टकराने के कारण भीषण हादसे में 3 ट्रेनें दुर्घटनाग्रस्त हुई थीं.जिसमें एक मालगाड़ी शामिल थी.इस हादसे में 288 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई थी, जबकि लगभग 1000 से अधिक लोग घायल हुए थे. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक इस भीषण दुर्घटना की जांच के दायरे में रेलवे के 5 कर्मचारी आ गए हैं.आइए आपको डिटेल में इस जानकारी के बारे में बताते हैं
रेलवे के 5 कर्मचारी आए जांच के दायरे में
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक बालोसर रेलवे स्टेशन से जुड़े हुए 5 कर्मचारी जांच के बारे में आए हैं. जिनमें स्टेशन मास्टर सहित सिग्नल के कामकाज से जुड़े अन्य चार कर्मचारी शामिल है. बता दें अधिकारियों को संभावना जताई थी कि इंटरलॉकिंग प्रणाली से छेड़छाड़ की गई हो जिसके कारण सिग्नल हरा हो गया और ट्रेन लूप लाइन में प्रवेश करके मालगाड़ी से टकरा गई. रेलवे की हाई लेवल कमिटी के साथ-साथ CBI भी इस घटना की जांच कर रही है.
ड्राइवर ने दिया था ये बयान
हावड़ा-चेन्नई कोरोमंडल एक्सप्रेस के लोको पायलट के मुताबिक उसे ट्रेन को आगे बढ़ाने के लिए ग्रीन सिग्नल दिया गया था,जिसके बाद उसने उस लूप ट्रैक पर ट्रेन को आगे बढ़ाया जिस पर माल गाड़ी खड़ी हुई थी. दुर्घटना कैसे हुई इसके सटीक कारणों को पता लगाने के लिए रेलवे बोर्ड के अनुसार अभी थोड़ा वक्त लगेगा, लेकिन प्रारंभिक तौर पर सिग्नल की गड़बड़ी की बात सामने आ रही है.
ऐसे हुआ हादसा
शुक्रवार शाम लगभग 7:00 बजे रेल से एक ट्रैक पर हावड़ा-चेन्नई कोरोमंडल एक्सप्रेस ने खड़ी हुई
मालगाड़ी को तेज रफ्तार से टक्कर मारी जिसके बाद उसके कुछ डिब्बे पटरी से उतर कर दूसरे ट्रैक पर जा पहुंचे और वो डिब्बे यशवंतपुर- हावड़ा सुपरफास्ट ट्रेन से टकरा गए और उस ट्रेन के भी 2 डिब्बे पटरी से उतर गए. इस तरह 3 ट्रेन के यात्रियों को जान माल का नुकसान हुआ है.
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88 शवों की नहीं हुई है अभी तक पहचान
एम्स के अधिकारियों के अनुसार अभी तक 88 शवों की पहचान नहीं की जा सकी है. इसलिए 50 से अधिक मृतकों के रिश्तेदारों की डीएनए प्रोफाइलिंग की प्रक्रिया पूरी करते उनके ब्लड के सैंपल DNA जांच के लिए दिल्ली भेजा जा रहा है. जिससे कि जिन शवों की पहचान पुख्ता तौर पर नहीं हुई है उनकी पहचान हो जाए.
बिना टिकट यात्रा कर रहे यात्रियों को मिलेगा मुआवजा
रेलवे के मुताबिक ट्रेन में बिना टिकट की यात्रा कर रहे दुर्घटना में मृतकों के परिजनों और घायलों को भी मुआवजे की राशि दी जाएगी. रेलवे की तरफ से मृतकों के परिजनों को 10 लाख,गंभीर घायलों को 2 लाख और मामूली घायलों को ₹50 हजार की राशि दी जाएगी. कई राज्य सरकारों ने भी अपने राज्य के मृतकों के परिजनों और घायलों को मुआवजा देने का ऐलान किया है. प्रधानमंत्री राहत कोष से भी मृतकों के परिजनों को ₹2 लाख और घायलों को ₹50 हजार रूपया दिया जाएगा.
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